अयोध्या की सुरक्षा में लगे 10000 से ज्यादा AI CCTV कैमरा और ये डिवाइस
हम जानते हैं कि 22 जनवरी भारत के लिए एक ऐतिहासिक दिन होने वाला है। असल में इस दिन अयोध्या में राम मंदिर का उद्घाटन होने वाला है।
ऐसे में इस जगह की सुरक्षा के लिए यहाँ के चप्पे चप्पे पर देश की सुरक्षा एजेंसी लगने वाली हैं। हालांकि तकनीकी कैसे यहाँ काम करेगी, आइए जानते हैं।
22 जनवरी को अयोध्या में राम मंदिर के उद्घाटन से पहले, सरकार ने शहर में सुरक्षा बढ़ाने के लिए कई तकनीकी कंपनियों के साथ साझेदारी/सहयोग किया है।
गुड़गांव स्थित आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस स्टार्टअप Staqu टेक्नोलॉजीज, बेहतर सुरक्षा के लिए अयोध्या में मौजूदा
कैमरों में जार्विस (Jarvis)नामक अपना एआई-संचालित ऑडियो-वीडियो एनालिटिक्स सॉफ्टवेयर स्थापित करेगा।
यह सॉफ्टवेयर वास्तविक समय में वीडियो फुटेज का विश्लेषण करेगा और संदिग्ध गतिविधि और संभावित खतरों की पहचान करेगा
इसके अलावा यह रियल टाइम में अधिकारियों को इसे लेकर जानकारी भी देने वाला है, ताकि सभी सचेत हो जाएँ।
इस स्टार्टअप कंपनी ने उत्तर प्रदेश पुलिस के साथ साझेदारी करके लगभग 800,000 अपराधियों का डेटा प्राप्त कर लिया है।
इस डेटा से सॉफ्टवेयर को यह मदद मिलने वाली है, अगर इन अपराधियों का फेस कहीं भी नजर आता है तो उसकी तुरंत ही पहचान की जा सके।
कंपनी का कहना है कि उसका सॉफ्टवेयर 99.7% अकुरेसी के साथ काम करता है।
यह सॉफ्टवेयर रियल टाइम में लाइव कैमरे पर उसकी तस्वीर का उपयोग करके किसी भी (POI) व्यक्ति को भी खोज सकता है।
कंपनी ने यह भी कहा है कि उसके पास ऐसे कैमरा भी हैं जो नंबर प्लेट पहचान (एएनपीआर) की भी पहचान कर सकते हैं।
इसमें सरकारी वाहन भी शामिल हैं। इतना ही नहीं, कंपनी के पास जो डेटा है उसमें चोरी हुए वाहन डेटाबेस भी शामिल है।
इससे अधिकारियों को रियल टाइम में फर्जी नंबर प्लेट वाले वाहनों की पहचान करने में भी मदद मिलेगी।
इसके अलावा, यह अधिकारियों को कपड़े, रंग, सहायक उपकरण, या साथ आने वाले बच्चों
आदि जैसी विशिष्ट विशेषताओं के आधार पर भीड़ में से व्यक्तियों की पहचान करने की भी अनुमति देगा।
इतना ही नहीं, Staqu के Jarvis को अयोध्या के चर्चित स्थानों पर भी इंस्टॉल किया जाने वाला है।
इन स्थानों में Kanak Bhawan, Hanuman Garhi, Shri Nageshwar Nath Mandir, Ram ki Paidi, और Ram Janmbhoomi शामिल हैं।
इसके अलावा यूपी पुलिस ने अयोध्या में एंटी माइन ड्रोन भी तैनात किए हैं।
ये AI Powered ड्रोन छिपे हुए बारूदी सुरंगों या विस्फोटक उपकरणों के लिए जमीन को स्कैन करने के लिए उन्नत सेंसर और पहचान तकनीक से लैस हैं
जो पवित्र शहर में आने वाले लाखों भक्तों की सुरक्षा करने वाले हैं।
यूपी पुलिस के आधिकारिक बयान के अनुसार, इसके नीचे एक प्लेट है जो स्पेक्ट्रोमीटर वेवलेंथ का पता लगाने में सहायक है।
इस ड्रोन के जरिए बड़े इलाकों में बारूदी सुरंगों या विस्फोटकों का पता लगाया जा सकता है और उन्हें निष्क्रिय किया जा सकता है।