आज एक बड़ी खबरे सुर्ख़ियों में है कि, फिलिप्स ने दिल्ली उच्च न्यायालय से गुहार लगाई है कि वह Xiaomi को अपने पेटेंट बेचने वाले अपने फोन को बेचने से प्रतिबंधित करे। Xiaomi India के खिलाफ मामला दर्ज करते हुए, कंपनी ने दिल्ली उच्च न्यायालय से कहा है कि कंपनी के पेटेंट का उल्लंघन करने वाले Xiaomi फोन की बिक्री पर प्रतिबंध लगाए।
अपनी दलील में, टेक दिग्गज ने दिल्ली उच्च न्यायालय से कहा है कि वह Xiaomi की अपनी और थर्ड-पार्टी वेबसाइटों के माध्यम से न केवल सेल, बल्कि विनिर्माण, आयात और इन प्रोडक्ट्स के विज्ञापन पर भी रोक लगाए। प्रतिबंध के लिए लगाईं इस गुहार में ऐसा ही कुछ कहा गया है, इसे देखकर कहा जा है कि यह Xiaomi के कुछ फोन के लिए है जिसमें UMTS वृद्धि (HSPA, HSPA +) और LTE तकनीकियां मिल हैं और कुछ सूट पेटेंट के उल्लंघन के परिणामस्वरूप ऐसा सामने आ रहा है।
फिलिप्स ने अपनी याचिका में केंद्रीय उत्पाद शुल्क और सीमा शुल्क निदेशालय को भारत में हर बंदरगाह पर कस्टम अधिकारियों को अधिकृत करने के लिए निषेधाज्ञा के अंतरिम आदेश की भी मांग की है ताकि उनके आवेदन में निर्दिष्ट मॉडल सहित Xiaomi मोबाइल हैंडसेट के आयात की अनुमति न दी जा सके।
अभी के लिए, अदालत ने Xiaomi और अन्य प्रतिवादियों को भारत में अपने बैंक खातों में न्यूनतम 1,000 करोड़ रुपये बनाए रखने के निर्देश देते हुए एक आदेश पारित किया है। 27 नवंबर के अपने आदेश में, अदालत ने कहा: "यह स्पष्ट किया जाता है कि प्रतिवादी अपने वकील द्वारा दिए गए बयान से बंधे हुए हैं। प्रतिवादी भारत में संचालित बैंक खातों का विवरण दर्ज करेंगे, जहां Rs 1,000 करोड़ की राशि है। यह 2 दिसंबर 2020 को या उससे पहले बनाए रखा जाना जरुरी है।"
अदालत ने मामले की सुनवाई के लिए अगली तारीख की भी घोषणा की है जो 18 जनवरी 2021 है। इस दिन मामले पर अधिक स्पष्टता की उम्मीद है। Xiaomi की ओर से इस मामले को लेकर अभी तक कोई भी जानकारी सामने नहीं आई है। हालाँकि हो सकता है कि आने वाले समय में Xiaomi की ओर से इस बारे में कोई जानकारी सामने आ जाए।