फेसबुक ने यह फैसला भारतीय दूरसंचार विनियामक प्राधिकरण (ट्राई) के निर्देश के बाद लिया है, जिसमें कहा गया था कि कोई भी कंपनी विषय सामग्री के आधार पर भेदभावपूर्ण डेटा शुल्क (डिसक्रिमनेटरी प्राइसिंग) पेश नहीं कर सकती.
दुनिया की सबसे बड़ी सोशल नेटवर्किंग साइट फेसबुक ने अपने प्रोजेक्ट फ्री बेसिक्स को भारत में बंद करने का निर्णय लिया है. फेसबुक ने यह फैसला भारतीय दूरसंचार विनियामक प्राधिकरण (ट्राई) के निर्देश के बाद लिया है, जिसमें कहा गया था कि कोई भी कंपनी विषय सामग्री के आधार पर भेदभावपूर्ण डेटा शुल्क (डिसक्रिमनेटरी प्राइसिंग) पेश नहीं कर सकती.
आपको बता दें कि, भारतीय दूरसंचार विनियामक प्राधिकरण (ट्राई) के इस कदम को नेट न्यूट्रैलिटी के समर्थन में और फेसबुक की फ्री बेसिक्स तथा एयरटेल जीरो के विरोध में माना गया. आलोचकों ने भी फेसबुक की इस पहल को नेट न्यूट्रैलिटी का कथित उल्लंघन बताया था. आलोचकों का मानना है कि फेसबुक इस योजना का इस्तेमाल इंटरनेट को नियंत्रित करने के लिए कर रही है.
जानकारी दे दें कि, भारतीय दूरसंचार विनियामक प्राधिकरण (ट्राई) के फैसले के बाद फेसबुक के संस्थापक और मुख्य कार्यकारी अधिकारी (CEO) मार्क जुकरबर्ग ने एक पोस्ट में इस घोषणा पर निराशा जताई. जुकरबर्ग ने इस मामले पर कहा है कि भारत में इंटरनेट संपर्क को बढ़ाने के बीच आने वाली अड़चनों को हटाने के लिए वह काम जारी रखेंगे.
गौरतलब हो कि, फेसबुक के अनुसार फ्री बेसिक्स योजना का उद्देश्य ग्रामीण इलाकों के गरीब मोबाइल यूज़र को मुफ्त में इंटरनेट मुहैया कराने की है. फेसबुक की प्रस्तावित फ्री बेसिक्स योजना में उपभोक्ता शिक्षा, हेल्थकेयर व रोजगार जैसी सेवाएं अपने मोबाइल फोन पर उस ऐप के जरिए नि:शुल्क (बिना किसी डेटा योजना के) हासिल कर सकते हैं जो कि इस प्लेटफॉर्म के लिए विशेष रूप से बनाया गया है.