Apple को मिली 5G वायरलेस टेक्नोलॉजी टेस्ट करने की मंज़ूरी

Updated on 28-Jul-2017
HIGHLIGHTS

Apple हाई फ्रीक्वेंसी और छोटे वेवलेंथ बैंड्स पर मिलीमीटर वेव ब्रॉडबैंड को टारगेट कर रहा है.

US फेडरल कम्युनिकेशन कमीशन के अप्रूवल के बाद Apple 5G टेक्नोलॉजी टेस्टिंग की शुरुआत करने वाला है. Engadget की रिपोर्ट के अनुसार Apple हाई फ्रीक्वेंसी और छोटे वेवलेंथ बैंड्स पर मिलीमीटर वेव ब्रॉडबैंड को टारगेट कर रहा है.
मिलीमीटर वेव टेक्नोलॉजी बढ़े डाटा ट्रांसमिशन को तेज़ गति प्रदान करता है, लेकिन ऐसे बढ़े डाटा ट्रांसमिशन के लिए साइट की सीधी लाइन की ज़रूरत होती है. ऐसी अन्य कई कम्पनियाँ हैं जो 5G टेक्नोलॉजी पर काम कर रही हैं. फेसबुक,गूगल, सैमसंग और स्टेरी जैसी कम्पनियाँ इस टेक्नोलॉजी पर पहले ही काम कर रही हैं.
स्प्रिंट अपनी 5G सर्विस 2019 में लॉन्च करने वाली है, वहीँ T-Mobile 2020 में अपनी 5G सर्विस लॉन्च करेगी और Verizon भी 5G नेटवर्क की तरफ अपना रुख कर रही है.
अभी Apple के ऐप्लिकेशन में ऐसी कोई जानकारी नहीं दी गई है जिससे पता चले की 5G सर्विस कैसे काम करती है. मीडिया रिपोर्ट के अनुसार टेस्ट के लिए Apple के कैलिफ़ोर्निया ऑफिस के पास दो जगह तय की गई हैं जहाँ अगस्त 2018 तक यह टेस्ट किये जाएंगे.
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