PUBG मोबाइल गेम के न केवल भारत में यूज़र्स हैं बल्कि देश के बहार भी, दुनियाभर में इसे काफी पसंद किया जा रहा है। वहीँ पिछले काफी समय से PUBG यानी PlayerUnknown’s Battleground गेम के बारे कई बातें सामने रही हैं और इसे बैन करने की बात भी कही गयी। इसी के चलते इस गेम को भारत के गुजरात में बैन कर दिया गया है। अगर आपने इस बैन किये हुए गेम को इसके बाद भी खेला तो आपको इसकी भारी कीमत चुकानी पड़ सकती है। जी हाँ, आपको जेल भी हो सकती है।
आपको बता दें कि गुजरात के कई बड़े शहरों में PUBG मोबाइल गेम को खेलने पर बैन है। इस शहरों में सूरत, राजकोट, वड़ोदरा, भावनगर और गिरसोमनाथ जैसे कई जिले शामिल हैं। आपको बता दें कि एक आंकड़े के मुताबिक गुजरात की पॉप्युलेशन 6 करोड़ के करीब है और पुलिस का मानना है कि इस गेम को खेलने से बच्चों और युवा पीढ़ी के दिमाग पर इसका बुरा असर पड़ रहा है। बच्चों की भाषा और पढाई पर भी इसका असर दिख रहा है।
ध्यान देने वाली बात यह है कि पिछले कुछ दिनों में अहमदाबाद और राजकोट से लगभग दो दर्जन से अधिक बच्चों को PUBG खेलने के मामले में गिरफ्तार किया जा चुका है। शुरुआत में PUBG का केवल डेस्कटॉप वर्जन ही था, लेकिन इसका मोबाइल वर्जन भी मार्च 2018 में लॉन्च किया गया है।Tencent Games की रिपोर्ट्स के मुताबिक दिसंबर 2018 तक इसे 20 करोड़ से ज्यादा यूजर्स ने डाउनलोड किया था
PUBG Mobile को गुजरात राज्य सरकार ने बैन किया है। ऐसे में वहां की पुलिस को इस बात का अधिकार दिया गया है कि अगर कोई भी व्यक्ति इस गेम को खेलता पाया जाए, तो वह उसे गिरफ्तार कर सकती है। इसी को फॉलो करते हुए राजकोट पुलिस ने हाल ही में इस नियम को तोड़ने वाले 10 प्लेयर्स को गिरफ्तार किया था। कुल मिलाकर राजकोट में अबतक 16 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है। वहीं अहमदाबाद में भी इस मामले में 10 गिरफ्तारी हो चुकी है।
इसके साथ ही बैन के बावजूद अगर आप इस गेम को खेलते हैं तो आपको गिरफ्तार कर इंडियन पैनल कोड (IPC) 188 और गुजरात पुलिस एक्ट (GPA) 135 के तहत मामला दर्ज किया जा सकता है। वहीँ आपको इस मामले में तुरंत जमानत भी मिल जाती है। ऐसे मामलों में अधिसूचना का उल्लंघन करने के आरोप में गिरफ्तार किया जाता है। उसके बाद कोर्ट इस मामले पर आगे की कार्रवाई करता है।
अगर आप पर IPC 188 के तहत कैसे लगता है तो इस अपराध में अधिकतम 1 महीने की जेल के साथ 200 रुपये का फाइन लगाया जा सकता है। आपको बता दें कि यह अपराध किसी भी पब्लिक सर्वेंट द्वारा किसी नियम को तोड़ने पर लगाया जाता है। वहीँ Section 135 GPA के तहत आने वाले अपराध में अधिकतम 1 साल की कैद और जुर्माने का प्रावधान है और इसमें भी ज़मानत मिल जाती है। इसमें ऐसे नियम को तोड़ने पर, जिससे सार्वजनिक शांति को भंग किया जा सकता है, यह चार्ज लगता है।
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