एप्पल ने हाल ही में iPhone X लॉन्च किया है, जिसकी कीमत 89000रुपये है. इस फोन को लेकर लोगों में काफी उत्सुकता है, लोग इसके लुक, फीचर्स और खासकर कैमरे के बारे में ज्यादा से ज्यादा जानना चाहते हैं. तो आइए जानें इस कीमती फोन के कैमरे में नया क्या है..
रियर कैमरा
IPhone X में नए सेंसर का इस्तेमाल हुआ है. कंपनी का दावा है कि स्टैंडर्ड और टेलीफोटो कैमरा के लिए इस्तेमाल हुए दोनों सेंसर का साइज बड़ा है. एप्पल का ये भी कहना है कि दोनों सेंसर में अब गहरा पिक्सल है, हालांकि वास्तव में इसका क्या अर्थ है, इसका अभी पता नहीं चला है. हालांकि ऐसा लगता है, एप्पल कहना चाहता है कि सेंसर्स में अब फास्ट फोकस पिक्सल है. और इन्हें तस्वीरों और वीडियो दोनों के लिए तेजी से ऑटोफोकस समय प्रदान करना चाहिए.
इसके साथ ही, iPhone X के टेलीफोटो लेंस में फास्ट f/2.4 लेंस है. जिससे लो लाइट फोटोग्राफी और बोकेह इफेक्ट में बढ़ोतरी होनी चाहिए. लो लाइट फोटोग्राफी और बोकेह इफेक्ट पहली बार पोर्ट्रेट मोड के जरिए iPhone 7 Plus में इंट्रड्यूस हुआ था. दोनों कैमरा यूनिट में अब ऑप्टिकल इमेज स्टैबलाइजेशन है, और ये दो फैक्टर संयुक्त रूप से iPhone X में स्टैंडअलोन टेलीफोटो कैमरा परफॉर्मेंस में सुधार करेंगे. स्पेशल एडिशन iPhone में कम रोशनी में फ्लैश शॉट्स को क्वॉड- LED ट्रू टोन फ्लैश विशेष संस्करण के iPhone को लो लाइट फ़्लैश शॉट्स में सुधार के लिए एक क्वॉड- LED ट्रू टोन फ्लैश भी मिलता है.
फ्रंट कैमरा
फ्रंट कैमरा के मामले में इस बार एप्पल ने बहुत प्रयास किया है. फ्रंट कैमरा नए सेंसर के साथ हैं. साथ ही इंफ्रारेड कैमरा और एक डॉट प्रोजेक्टर है. इसमें एप्पल कस्टमाइज्ड इमेज सिग्नल प्रोसेसर(ISP) भी है, जो फ्रंट कैमरा को बोकेह इफेक्ट से लैस बनाता है. वैसे IR कैमरा, डॉट प्रोजेक्टर और फ्लड इल्यूमिनेटर को शामिल करने का प्राथमिक कारण सभी नए फेस आईडी बायोमेट्रिक फेस सिक्योरिटी लॉक को सुविधाजनक बनाना है. भले ही एप्पल स्पष्ट रूप से इसका उल्लेख नहीं करता लेकिन ये सभी तत्व फ्रंट कैमरा के परफॉर्मेंस में अहम रोल अदा करते हैं.
पोर्ट्रेट लाइटिंग
हालांकि सभी फिजिकल अपग्रेड्स iPhone 7 Plus के सेटअप को सुधारने को लेकर हैं. वहीं सॉफ्टवेयर फीचर्स सभी बैकग्राउंड डिफोकस विकल्पों के अनुकूलन के बारे में हैं. इसलिए, पोर्ट्रेट लाइटिंग –एप्पल के सॉफ्टवेयर-प्रेरित, ISP आधारित 3 डाइमेंशनल लाइटिंग सब्जेक्ट पर प्रभाव डालने के लिए और बाद में बैकग्राउंड, मिडग्राउंड और फोरग्राउंड के बीच रोशनी की संतुलन बनाने के लिए है.
पोर्ट्रेट प्रकाश कई मोड प्रदान करता है. जिनमें प्राकृतिक, स्टूडियो, कंटूर, स्टेज और स्टेज मोनो मोड शामिल हैं. इन सभी विधियों के लिए, एप्पल का कैमरा इन प्रभावों को दिखाने के लिए एल्गोरिदम कृत्रिम फ़िल्टरों को अप्लाई करता है. उदाहरण के लिए, पोर्ट्रेट लाइट में प्राकृतिक मोड सब्जेक्ट पर प्राकृतिक प्रकाश डालता है और तस्वीर की पृष्ठभूमि भी वैसी ही होती है जैसी प्राकृतिक लाइट में होती है. इसी तरह दूसरे मोड में भी तस्वीरों की पृष्ठभूमि और कलर मोड के मुताबिक बदल जाती है.
एप्पल के सेंसर में अब 'गहरा' पिक्सल है "
iPhone X का कैमरा देखने से पूरी तरह से नया नहीं लगता है. एप्पल नें निश्चित तौर पर 2 कैमरों का बेहतर इस्तेमाल करने के लिए कई नई सुविधाओं का इस्तेमाल किया है. फास्ट लेंस, बड़ा और फास्ट सेंसर और फ्रंट कैमरे में सुविधाओं की अधिकता के साथ मौजूद है.